भारत के सबसे बड़े राज्य राजस्थान के जयपुर को पिंक सिटी के नाम से भी जाना जाता है। पिंक सिटी के नाम से क्यों जाना जाता है इसके पीछे भी एक कहानी है। दरअसल महाराजा रामसिंह ने राजकुमार अल्बर्ट एडवर्ड के भारत आने की खुशी में भव्य स्वागत के लिए पूरे शहर को गुलाबी रंग से रंगा दिया था। इसके बाद से जयपुर को गुलाबी शहर के नाम से जाना जाता है।
हर साल देश विदेश से लाखों श्रद्धालु यहां पर घूमने फिरने आते हैं और यहां की संस्कृति के बारे में जानने आते हैं। यहां का स्वादिष्ट भोजन पूरे भारत में मशहूर है। यहां पर हर साल काफी सारे त्योहार मनाए जाते हैं जिनमे से एलिफेंटा महोत्सव काफी ज्यादा लोकप्रिय हैं।
जयपुर शहर का नाम किसके नाम पर रखा गया था
जयपुर शहर का नाम महाराजा जय सिंह दुतीये के नाम पर रखा गया था। इस नगर का निर्माण महाराजा सवाई जय सिंह दुतीये ने सन् 1727 ईस्वी में करवाया था। पहले यह नगर गुलाबी रंग में नहीं था बल्कि अन्य नगरों की तरह दिखाई देता था।
- हवा महल
हवा महल जयपुर के प्रमुख पर्यटक स्थल में से एक है। इसका निर्माण महाराणा सवाई प्रताप सिंह द्वारा सन् 1799 ईस्वी में करवाया गया था। पिरामिड के आकार में इसका निर्माण लाल और गुलाबी पत्थर से किया गया है। यह जमीन से 50 फीट ऊंचाई तक है।
- अल्बर्ट हॉल संग्रहालय
जयपुर के रामनिवास बाग में स्थित यह संग्रहालय जयपुर की सबसे पुराने संग्रहालय में से एक है। अल्बर्ट हॉल संग्रहालय की नींव 1876 में रखी गई थी। इस संग्रहालय का निर्माण राजाराम सिंह द्वारा करवाया गया था।
- आमेर का किला
आमेर किले को अंबर किले के नाम से भी जाना जाता है। महाराजा मानसिंह द्वारा इस किले का निर्माण सन् 1592 ईस्वी में करवाया गया था। गुलाबी और पीले बलुवा पत्थर को मिलाकर इस किले का निर्माण किया गया है। जयपुर सिटी से 11 किलोमीटर की दूरी पर आमेर का किला स्थित है।
- सिटी पैलेस
सिटी पैलेस जयपुर शहर के बीचो बीच स्थित है। इसका निर्माण महाराजा सवाई जय सिंह दुतीये द्वारा
सन् 1729 से 1732 ईस्वी के बीच में करवाया गया था। सिटी पैलेस के अंदर आपको दो और महल चंद्रमहल और मुबारकमहल देखने को मिलते हैं।
- जंतर मंतर
सिटी पैलेस के बेहद करीब जंतर मंतर संगमरमर और स्थानीय पत्थर से बना हुआ है। इस भव्य भवन का निर्माण महाराजा सवाई जय सिंह दुतीये द्वारा सन् 1734 ईस्वी में करवाया गया था। जंतर मंतर यूनेस्को के वर्ल्ड हेरिटेज साइट की सूची में भी शामिल है।